
गंगोत्री नेशनल पार्क के हिम तेंदुओं पर शोध व संरक्षण के लिए बन रहा हिम तेंदुआ संरक्षण केंद्र टेंडर प्रक्रिया से आगे नहीं बढ़ पाया है, जबकि पूर्व में विभाग ने 2022 के अंत तक निर्माण कार्य पूर्ण होने की संभावना जताई थी। लेकिन स्थिति यह है कि निर्माण कार्य के नाम पर अभी तक एक ईंट भी नहीं रखी गई है।
गंगोत्री नेशनल पार्क के हिम तेंदुओं पर शोध व संरक्षण के लिए भैरवघाटी के समीप लंका में हिम तेेंदुआ संरक्षण केंद्र बनाया जाना है। करीब 6 करोड़ की लागत से बनने वाले केंद्र में हिम तेेंदुओं के संरक्षण व उन पर शोध के लिए कई सुविधाएं उपलब्ध होंगी। केंद्र के निर्माण के लिए ग्रामीण निर्माण विभाग ने अक्तूबर 20211 में निविदा प्रक्रिया भी जारी कर दी है, लेकिन अभी तक निर्माण कार्य शुरू नहीं हुआ है। ग्रामीण निर्माण विभाग का कहना है कि केंद्र के लेआउट को आर्किटेक्ट से स्वीकृति मिलने के बाद ही निर्माण कार्य शुरू हो पाएगा।
गंगोत्री नेशनल पार्क में बढ़ा है हिम तेंदुओं का घनत्व
भारतीय वन्य जीव संस्थान के सर्वे के अनुसार गंगोत्री नेशनल पार्क में हिम तेंदुओं का घनत्व बढ़ा है। सर्वे में प्रति 100 वर्ग किमी में 2 हिम तेंदुए पाए गए हैं। यहां करीब 40 हिम तेंदुए हैं।
हिम तेंदुआ संरक्षण केंद्र बनने से बढेगा राजस्व
गंगोत्री नेशनल पार्क को पर्यटकों से हर वर्ष करीब 30 से 35 लाख का राजस्व प्राप्त होता है। यहां प्रतिवर्ष करीब 17 हजार पर्यटक पहुंचते हैं। हिम तेंदुआ संरक्षण केंद्र बनने से पार्क का राजस्व भी बढ़ेगा।
– हिम तेंदुआ संरक्षण केंद्र के निर्माण के लिए निविदा प्रक्रिया जारी हो चुकी है। केंद्र के लेआउट को अभी आर्किटेक्ट से स्वीकृति नहीं मिली है। स्वीकृति मिलते ही निर्माण कार्य शुरू कर दिया जाएगा। -नितिन पांडे, अधिशासी अभियंता, आरडब्ल्यूडी।